लोकसभा चुनाव (Lok Sabha Election) के परिणाम को लेकर निवेशकों की निगाहें भारतीय स्टॉक मार्केट (Book Marketplace) पर टिकी हुई हैं. सात चरणों में से 6 चरण का चुनाव हो चुका है और आखिरी चरण में 57 सीटों पर वोटिंग हो रही है. लोग 6 सप्ताह तक चलने वाले मतदान के नतीजों का बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं. अभी तक 89 फीसदी मतदान हो चुका है. इस बीच शेयर बाजार में भारी उतार-चढ़ाव देखा गया है.
चुनाव एक्सपर्ट्स के बीच चुनाव के संभावित नतीजों को लेकर मतभेद होने के कारण बाजार में उतार-चढ़ाव देखी जा रही है. कम मतदान और उदासीनता को लेकर कहा जा रहा है कि यह NDA या प्रधानमंत्री के लिए जोखिम भरा हो सकता है. ऐसे में लोग शेयर बाजार में मुनाफावसूली भी कर रहे हैं. Book Marketplace इस बात को लेकर चिंतित है कि आगे क्या होने वाला है? एग्जिट पोल का असर को सोमवार को शेयर बाजार में दिखने को मिलेगा. हालांकि मंगलवार को ही मतगणना है और फिर तस्वीर साफ हो जाएगी.
बिजनेस टुडे के सर्वे के अनुसार, शेयर बाजार एक्सपर्ट्स भाजपा को स्पष्ट बहुमत मिलने का अनुमान लगा रहे हैं, जहां एक्सपर्ट को उम्मीद है कि NDA पार्टी अपने दम पर 300-320 सीटें जीत सकती है. पिछले चुनाव 2019 में भाजपा ने अकेले अपने दम पर 303 सीटें जीती थीं, जबकि एनडीए को 352 सीटें मिली थीं.
भाजपा की जीत से कितना चढ़ेगा बाजार? फॉरेक्स कंसल्टिंग और असेट मैंनेजमेंट फर्म IFA ग्लोबल के संस्थापक अभिषेक गोयनका ने कहा कि अगर BJP अपनी स्थिति को और मजबूत करने में सक्षम होती है या फिर पुराने परफॉर्मेंस को दोहराती है तो बेंचमार्क इंडेक्स Sensex और Nifty में 4 से 5 फीसदी तक भाग सकता है.
ITI म्यूचुअल फंड के मुख्य निवेश अधिकारी राजेश भाटिया ने समाचार एजेंसी रॉयटर्स को बताया कि अगर भाजपा 2019 की तुलना में ज्यादा मजबूत परफॉर्म करती है तो इंफ्रास्ट्रक्चर पर खर्च और मैन्युफैक्चर सेक्टर जैसे सेक्टर्स में तेजी आएगी, जिस कारण शेयर बाजार में बढ़ोतरी होगी.
रुपया भी डॉलर की तुलना में होगा मजबूत करूर वैश्य बैंक के ट्रेजरी हेड वीआरसी रेड्डी ने कहा कि रुपया और बॉन्ड यील्ड जैसी अन्य संपत्तियों में भी कुछ सुधार देखने को मिल सकता है.
सिंगापुर स्थित एबर्डन के एशियाई इक्विटीज के सीनियर इन्वेस्टर डायरेक्टर जेम्स थॉम ने समाचार एजेंसी से कहा कि मोदी की वापसी को बाजार सकारात्मक मान रहा है, क्योंकि यह राजनीतिक स्थिरता को दर्शाता है और नीतिगत निरंतरता को दर्शाता है.
कम सीटें आईं तो गिर जाएगा बाजार अगर बीजेपी कम सीटों के साथ सत्ता में आती है, यानी कम से कम 272 सीटें अपने दम पर और पूर्ण बहुमत वाली सरकार बनाने में सक्षम होती है, तो बाजार में गिरावट आ सकती है, लेकिन यह गिरावट कम समय के लिए होगी. रॉयटर्स की रिपोर्ट के अनुसार, शेयरखान में पूंजी बाजार रणनीति के प्रमुख गौरव दुआ ने कहा कि ऐसा लगता है कि बाजार ने पहले ही इस संभावना को स्वीकार कर लिया है कि भाजपा और एनडीए की जीत का अंतर पहले के अनुमान से कम हो सकता है. इस कंडीशन में हो सकती है भारी गिरावट अगर INDI गठबंधन सत्ता में आता है तो शेयर बाजार में भारी बिकावली आ सकती है. यह गिरावट तबतक रहेगी, जबतक नई सरकार की पॉलिसी स्पष्ट नहीं हो जाती है. कोटक अल्टरनेट एसेट मैनेजर्स के मुख्य निवेश रणनीतिकार जितेंद्र गोहिल ने चेतावनी दी है कि अगर एनडीए गठबंधन अगली सरकार बनाने में विफल रहता है तो शेयर बाजार में 20 प्रतिशत से अधिक की गिरावट आ सकती है और इसे पूरी तरह से ठीक होने में समय लग सकता है.
एग्जिट पोल से पहले गोहिल ने कहा कि उनकी निवेश समिति ने इक्विटी पर एक नर्वस रुख बनाए रखा है यानी एसेट एलोकेशन के अनुरूप निवेश बनाए रखना है. उन्होंने कहा कि हालांकि गोहिल ने कहा कि ऐसे परिणाम की संभावना बहुत कम है, लेकिन निवेशकों के लिए पोर्टफोलियो में विविधता लाना और चुनाव परिणामों से पहले जोखिम कम करना समझदारी होगी, क्योंकि लाभ सीमित हो सकता है, लेकिन नुकसान बहुत अधिक हो सकता है.
रॉयटर्स की रिपोर्ट के अनुसार, आईएफए ग्लोबल के गोयनका ने कहा कि उन्हें फैसले के तुरंत बाद बेंचमार्क शेयर बाजार सूचकांक में 10 प्रतिशत तक की गिरावट की उम्मीद है, जबकि शेयरखान के दुआ ने कहा कि यह गिरावट 15-20 प्रतिशत तक हो सकती है.